दुसरो के लिए है दिल का दरवाज़ा
दोस्त तू बिना पूछे अंदर आ जा
एक कन्धा चाहिए सर रखने को
बेधड़क अपना वज़न रख जा
कभी भी हो तकलीफ तुझे दोस्त
सिर्फ मुझे आकर तू बता जा
ज़रा भी डरना मत मुसीबतों से
लड़ने मुझे तेरे साथ ले जा
बनकर खड़ा रहूँगा ढाल तेरी
मेरी दोस्ती भी तू आज़मा जा
दोस्त है तो दुनिया है रंगीन
ग़म को खुल्ले आम बता जा
दिल हो दुखी पलकें हो नम
मेरी हसी अपने होंठो पे लेजा
ज़िन्दगी होगी तेरे कब्ज़े में
दोस्तों को दिलकी बात केहजा !!!
-आसिम बक्षी
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